ठाकुरद्वारा में चल रही तीन फर्जी पैथोलॉजी लैबों को किया गया सील

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ठाकुरद्वारा में चल रही तीन फर्जी पैथोलॉजी लैबों को किया गया सील

ठाकुरद्वारा में चल रही तीन फर्जी पैथोलॉजी लैबों को किया गया सील

ठाकुरद्वारा में चल रही तीन फर्जी पैथोलॉजी लैबों को किया गया सील


यामीन विकट 
ठाकुरद्वारा।
फ़र्ज़ी ढंग से चलाई जा रही पैथोलॉजी लेबो पर उपजिलाधिकारी ने बड़ी कार्यवाही करते हुए तीन फ़र्ज़ी लैबों को सील कर दिया है। इस दौरान कई अन्य पैथोलॉजी लैब संचालक अपनी अपनी लैबो को बन्द कर मोके से फरार हो गए हैं।

नगर में पिछले लंबे समय से लोगों के स्वास्थ्य से खिलवाड़ करने और उल्टी सीधी रिपोर्ट देकर मरीज़ों को गुमराह करने का काम फ़र्ज़ी पैथोलॉजी लैबो द्वारा किया जा रहा है। इस मामले में अनेक बार नगर के लोगो तथा समाचार पत्रों के माध्यम से स्वास्थ्य विभाग से इन फ़र्ज़ी लेबो की शिकायत भी की जाती रही हैं लेकिन उसके बाद भी स्वास्थ्य विभाग द्वारा कोई ठोस कार्यवाही नही की गई। 

लेकिन हाल ही में नगर में उपजिलाधिकारी का पदभार ग्रहण करने वाले बेहद ईमानदार और हर हाल में कानून का पालन कराने वाले उपजिलाधिकारी अजय गौतम ने गुरुवार को डिप्टी सी एम ओ संजीव बेलवाल को अपने साथ लेकर नगर की इन पैथोलॉजी लैबो पर अचानक छापेमारी कर लैब संचालकों को संदेश दे दिया कि अबतक जो मनमानी चल रही थी वह अब नही चलेगी। इस कार्यवाही में उपजिलाधिकारी ने नगर की तीन फ़र्ज़ी लैबो को भारी अनियमितताओं के चलते सील कर दिया है जिनमे शांति पैथोलॉजी, ओम डिजिटल पैथ लैब तथा स्वस्तिक पैथोलॉजी लैब शामिल हैं। 

बताते चलें कि नगर की अधिकतर पैथोलॉजी लैबो को नोसिखिये चला रहे हैं लेकिन उनके बोर्ड पर बड़े बड़े चिकित्सकों और लैब टेक्नीशियन के नाम लिखे हुए हैं।इन पैथोलॉजी लैबो पर अक्सर जब मरीज किसी जांच के लिए आता है तो कमीशन खोरी में लिप्त इन लैबो पर मौजूद नोसिखिये मरीज़ों को गलत रिपोर्ट थमा देते हैं और फिर मरीज गलत इलाज के चक्कर में पड़कर अपना पैसा और अपना स्वास्थ दोनो को दांव पर लगा बैठता है। आज की तीन पैथोलॉजी लैब पर उपजिलाधिकारी के ज़रिए जो कार्यवाही की गई है उससे नगर की जनता में बेहद खुशी के साथ साथ अब इस बात की उम्मीद भी जाग उठी है कि अब देर सवेर नगर में कुकरमुत्तों की तरह उग आईं सभी फ़र्ज़ी पैथोलॉजी लैबो पर कार्यवाही होना तय है क्योंकि जबसे उपजिलाधिकारी अजय गौतम ने  नगर में पद भार ग्रहण किया है तब से नगर में अनेक काम  ऐसे हुए हैं जिनकी पहले कभी किसी ने कल्पना भी नही की थी। 

फिलहाल एक ओर जहां आम जनता उपजिलाधिकारी के इस कदम की प्रशंसा कर रही है तो वहीं दूसरी ओर स्वास्थय विभाग की संदिग्ध कार्यप्रणाली को लेकर भी चर्चाओ का बाज़ार गर्म है लोग इस मामले में यहां तक कह रहे हैं कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा इन सभी फ़र्ज़ी लैबो से एक लैब संचालक की सेटिंग है और वही इस सारे खेल को देखता है और फ़र्ज़ी लैबो से एक तय शुदा रकम जिले पर बैठे  स्वास्थ्य विभाग के एक गुर्गे को पंहुचाता है इसीलिए इतने दिनों से फ़र्ज़ी लैब बिना किसी रोक टोक के चलती रही हैं लेकिन उपजिलाधिकारी के समय में अब ये मुमकिन नहीं है इसलिए लैब संचालको में हड़कम्प मचा हुआ है।

फ़र्ज़ी पैथोलॉजी लैबो पर उपजिलाधिकारी व ए सी एम ओ की टीम द्वारा की गई छापेमारी के दौरान एक लैब संचालक ने खुद को अंदर बन्द कर लैब का शटर गिरा लिया। जिसपर तेज़ तर्रार उपजिलाधिकारी स्वम् लैब का शटर उठाकर दुकान के अंदर छिपे लैब संचालक को खरी खरी सुनाते हुए अनियमितताओ पर लैब को सील कर दिया।

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