बिजली बिल की फर्जी रसीद मामले में पूर्व विधायक हाजी इकराम कुरैशी को सजा और जेल भेजे जाने की तैयारी

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बिजली बिल की फर्जी रसीद मामले में पूर्व विधायक हाजी इकराम कुरैशी को सजा और जेल भेजे जाने की तैयारी

बिजली बिल की फर्जी रसीद मामले में पूर्व विधायक हाजी इकराम कुरैशी को सजा और जेल भेजे जाने की तैयारी

बिजली बिल की फर्जी रसीद मामले में पूर्व विधायक हाजी इकराम कुरैशी को सजा और जेल भेजे जाने की तैयारी


मुरादाबाद। हाल ही के विधानसभा चुनाव में अखिलेश यादव का दामन छोड़कर कांग्रेस के टिकट पर मुरादाबाद देहात से विधानसभा चुनाव लड़ने वाले पूर्व दर्जा मंत्री हाजी इकराम कुरैशी को करीब बाइस साल पुराने मामले में एमपी-एमएलए कोर्ट ने बिजली के फर्जी बिल प्रकरण में सजा सुनाई है। इकराम कुरैशी फिलहाल न्यायिक हिरासत में है और उन्हें जेल भेजे जाने की तैयारी चल रही है।

मुरादाबाद महानगर के गल शहीद थाना अंतर्गत भूड़ा का चौराहा निवासी हाजी इकराम कुरैशी अखिलेश यादव की सरकार में मुरादाबाद देहात से समाजवादी पार्टी के विधायक थे और वह समाजवादी पार्टी की ही सरकार में दर्जा मंत्री भी रहे।

समाजवादी पार्टी की सरकार में उनका रुतबा चलता था लेकिन प्रदेश में सत्ता बदलने के बाद पहली बार हाजी इकराम कुरैशी को कानूनी सजा की स्थिति का सामना करना पड़ रहा है। बिजली के फर्जी बिल के मामले में मुरादाबाद की अपर न्यायिक मजिस्ट्रेट ने उन्हें पांच साल की सजा सुनाई है और जैसे ही यह खबर समाजवादी पार्टी के उनके समर्थकों पता चली तो कचहरी में सपाइयों की भीड़ लग गई। मालूम हो कि हाल ही के विधानसभा चुनावों में उन्होंने समाजवादी पार्टी से टिकट ना मिलने पर कांग्रेश का दामन थाम लिया था। करीब बाइस साल पुराने मामले में एमपी-एमएलए कोर्ट ने पूर्व विधायक हाजी इकराम कुरैशी को सात साल की सजा सुनाई है। अदालत ने पूर्व विधायक पर लगे फर्जी को न्यायिक अभिरक्षा में लेकर जेल भेजने का आदेश दिया हैै। विधायक के परिवार ने कोर्ट के फैसले के खिलाफ अपील दायर करने का फैसला लिया है।

आठ हजार का जुर्माना भी लगाया

हाजी इकराम कुरैशी जिले के कद्दावर नेता हैं और जनता में लोकप्रिय भी। पूर्व मंत्री हाजी इकराम कुरैशी को बिजली चोरी के मामले में एसीजेएम फोर कोर्ट ने सात साल की सजा और आठ हजार रुपये का जुर्माना लगाया है। हाजी इकराम अखिलेश यादव सरकार में दर्जा राज्यमंत्री भी रहे थे। हाजी इकराम के खिलाफ दो जून 2000 में विद्युत विभाग ने फर्जी रसीद बनाने का मुकदमा दर्ज कराया था। आरोप था कि हाजी इकराम कुरैशी के ऊपर विद्युत बिल करीब 6 लाख 88 हजार 54 रुप.ये का था। हाजी इकराम कुरैशी और विद्युत विभाग के एसएसओ राम अवतार शर्मा ने मिलकर रुपये जमा करने की नकली रसीद बना ली। एमपीएमएलए विशेष कोर्ट की विद्वान न्यायधीश स्मिता गोस्वामी ने इस मामले में हाजी इकराम कुरैशी को सात साल कैद की सजा सुनाई है।

एसएसओ राम अवतार दोषमुक्त करार

विशेष लोक अभियोजक मोहनलाल विश्नोई ने बताया कि बुधवार देर शाम इस मुकदमे का फैसला अदालत ने सुनाया। जिसमें विद्युत विभाग के एसएसओ राम अवतार शर्मा को साक्ष्यों के अभाव में दोष मुक्त कर दिया गया और पूर्व विधायक हाजी इकराम कुरैशी को दोषी करार देते हुए सात साल के कठोर कारावास की सजा के साथ आठ हजार रुपये का जुमार्ना भी लगाया है। सुबह से देर शाम तक पूर्व मंत्री हाजी इकराम न्यायिक अभिरक्षा में थे। अदालत के आदेश के बाद उन्हें जेल भेजा गया है। वह बीते चुनाव में टिकट नहीं मिलने पर सपा छोड़कर कांग्रेस में शामिल हुए थे और हाथ के निशान पर चुनाव भी लड़ा था। हाजी इकराम 2017 के चुनाव में मुरादाबाद देहात सीट से विधायक चुने गए थे।

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